शनिवार, 29 फ़रवरी 2020

उत्तर प्रदेश के डकैतों की प्रेमिकाएं कैसे बनी स्टार , जानिए बीहड़ से बॉलीवुड और संसद तक पहुचने का रहस्य

( नितिन त्रिपाठी ) | देश भर में चर्चा के पात्र रहे उत्तर प्रदेश के डाकुओ का इतिहास भी काफी रोमांचक रहा है | इनकी अपराध भरी ज़िन्दगी में भी प्रेम और प्यार जैसे शब्दों का भी काफी महत्व हुआ करता था | बात करे प्रेम प्रसंगों की तो चम्बल में बसने वाले डाकुओ के साथ साथ दस्युसुन्द्रियाँ भी इस प्रकरण में पीछे नहीं थी | जानकारी के अनुसार चम्बल के डकैतों की प्रेमिकाओं का इतिहास डाकू सुल्ताना की प्रेमिका डाकू पुतलीबाई से शुरू होता है,परन्तु हम यदि आधुनिक दौर की बात करे तो मलखान, माधो सिंह के अलावा शायद ही कोई डाकू हो जिसकी कोई प्रेमिका न हो, जिन्होंने डकैत प्रेमियो के साथ न केवल गिरोह का नेतृत्व किया बल्कि खून की होली खेलने से  भी कभी परहेज नहीं किया था । इनमें से कुछ तो असमाजिक तत्वों द्वारा सताये जाने से छुब्ध होकर  दस्यु डाकुओ का सहारा लेने पर मजबूर हो गयीं और  कुछ दस्यु सुन्दरिया का तो गिरोह के सरदारों के द्वारा अपनी हवस पूरी करने के लिए अपहरण किया गया | हलाकि कुछ सुन्दरियो ने फूलन के राजनैतिक ग्लेमर के चलते बीहड़ का रास्ता तय किया ।


बीहड़ में प्रख्यात दसुसुन्दारियों का ऐसा था इतिहास 


जालौन की फूलन का अपहरण दस्यु सरगना लालाराम ने किया था और उसके साथ सामूहिक बलात्कार करने के बाद उसे निबस्त्र कर घुमाया | जब इस घटना की जानकारी सजातीय डाकू विक्रम मल्लाह को हुई तो उसने फूलन को सहारा दिया फूलन को भी विक्रम के नजदीक आने में देर ना लगी, दस्यु फक्कड़ के साथ जेल की हवा खा रही दस्युसुन्दारी कुसुमा नाइन की प्रेम कहानी की बात करे तो वह पहले दस्यु लालाराम की प्रेमिका हुआ करती थी, परन्तु उस समय के बीहड़ के सम्राट फक्कड़ ने कुसुमा को जबरन अपनी रखैल बना लिया और बाद में हमेशा के लिए कुसुमा फक्कड़ की हो गयी ।


चर्चित फिल्म वुंडेड की अभिनेत्री और कई डकैतों के साथ अपनी मजेदार प्रेमकहानी के लिए मशहूर जमानत पर रिहा दस्यु सुंदरी सीमा परिहार की चर्चा करे तो उसके साथ दो दस्यु सरदारों के नाम आते है उसका अपहरण करने वाला डकैत लाला राम उसका पहला प्रेमी बना, लालाराम  के साथ सीमा की ज्यादा दिन नहीं बनी तो सीमा परिहार ने डाकू निर्भय गुजर का हाँथ थम लिया |


इसी तरह एक बार फिर निर्भय ने अपनी आधी उम्र की छरहरी नीलम गुप्ता को अपनी प्रेमिका बनाकर उससे शादी कर ली और अपने दत्तक पुत्र दस्यु श्याम जाटव के साथ नाबालिग और अप्रहत सरला जाटव की धूमधाम के साथ बीहड़ में सात फेरे करवा दिए परन्तु मनचली नीलम अपने हम उम्र श्याम जाटव के साथ निर्भय को छोड़कर चली गयी | जिससे निर्भय बहुत आहत हुआ।


मुठभेड़ में मारे गए दस्यु चन्दन यादव की प्रेमिका रेनू यादव की चर्चा इस इलाके में खूब रही, उसने जेल के अन्दर से ही अपनी ससुराल जाना से बी डी सी का चुनाव जीता।
मारी गयी दस्यु सुन्दरियों की बात करे तो लवली पाण्डेय ने अपने समय के खूंखार दस्यु सरगना रज्जन गुर्जर का दामन थामा , इसी प्रकार रन्नो चौरसिया ने दस्यु देवकुमार की बाहों में सुकून पाया।


इस समय ज्यादातर दस्यु सुन्दरिया जेल के सिंगचो के पीछे है कुछ मुठभेड़ में अपने दस्यु प्रेमियो के साथ मारी गयी केवल पूर्व दस्यु सुंदरी सीमा परिहार और रेनू यादव ही जेल से बाहर हैं।


हालांकि फूलन देवी के राजनीति में सफलता के बाद डाकू चंदन की प्रेमिका रेनू यादव और निर्भय की पत्नी ने भी अपना कैरियर राजनीति में ढूढ़ना चाहा लेकिन सफलता नही मिली, अगर हम बात सीमा परिहार की करे तो वह बॉलीबुड अपना कैरियर तलाशते हुये पहुची और  सीमा की जीवनी पर बनी फिल्म वुंडेड में काम किया जिसके बाद सोनी चैनल पर प्रसारित हिट सीरियल बिगबॉस में भी काम करने का मौका मिला ।


डाकुओं का इतिहास चम्बल की घाटी से जुड़ा हुआ है और डकैतों की प्रेमिकायें भी सुर्खियों में भी बनी रही बीतते समय के साथ कई नामी डकैत मारे गये जिनके साथ उनकी प्रेमिकाओं को भी मौत मिली, लेकिन जो बची वह देश की संसद से बॉलीवुड तक सुर्खिया बटोरती रही।।



लेबल: